श्री कृष्ण आश्रम के प्रांगण मे 51 फुट ऊँची भगवान शिव की मूर्ति के साथ स्थित श्री कृष्ण मंदिर का निर्माण श्री ज्ञान स्वरूपनंद जी महाराज ने कराया था।
इस पूरे आश्रम मे मंदिर के साथ-साथ गुरुकुल तथा गुरुकुल का हॉस्टिल, गौशाला, यात्री निवास जैसे अन्य धार्मिक संस्थान भी हैं। मंदिर के सत्संग हॉल को संपूर्ण ब्रजघाट का सबसे भव्य सत्संग हॉल माना जाता है। आश्रम प्रांगण में सौ से भी अधिक संत एवं यात्री निवास कक्ष की व्यवस्था की गई है।
इस पूरे धार्मिक संगठन की विशाल एक लाख वर्गफुट परिधि मे बने कई बड़े-छोटे बाग-बगीचे-उपवन, इस स्थान को और भी भव्य एवं मनोरम बनाने मे सहयोग करते हैं।
मंदिर में त्यौहार एवं धार्मिक अनुस्थानो के अंतर्गत सभी हिंदू त्यौहार तथा सभी महापुरुषों की जयंतियाँ विधि-विधान के अनुसार मनाने की परंपरा है। प्रत्येक माह की अमावस्या एवं पूर्णिमा को यज्ञ का आयोजन किया जाता है, तथा अर्ध मासिक त्रियोदशी के दिन महामृत्युंजय जाप किया जाता है।
गढ़मुक्तेश्वर क्षेत्र का प्रसिद्ध वार्षिक मेला कार्तिक शुक्ला पूर्णिमा को आयोजित किया जाता है, अतः मेले मे आने वाले भक्तों एवं यात्रियों की सेवार्थ आश्रम पूर्ण रूप से तत्पर रहता है।
51 Feet Bhagwan Shiv Murti
Maa Bhagwati
Shri Radha Krishna
Shri Panchmukhi Hanuman
Shri Ram Darwar
Bhagwan Shankar
Temple Main Shikhar
Samadhi Sthal of Shri Gyan Swaroopanand Ji
Shri Gauri Shankar with Nandi
1974
मंदिर की स्थापना।
8 October 1995
मंदिर मे श्री गौरी शंकर के साथ शिवालय की स्थापना।
7 February 2007
51 फुट विशाल भगवान शिव मूर्ति की स्थापना।
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