Download Bhakti Bharat APP
Subscribe BhaktiBharat YouTube Channel - Subscribe BhaktiBharat YouTube ChannelHanuman Chalisa - Hanuman ChalisaDownload APP Now - Download APP NowFollow Bhakti Bharat WhatsApp Channel - Follow Bhakti Bharat WhatsApp Channel

(कृष्ण और शुक्ल) पक्ष क्या है? (What is (Krishna and Shukla) Paksha?)

हिन्दू शास्त्र में तिथि, दिनांक का विशेष महत्व है। पंचांग को हिन्दू कैलेण्डर माना जाता है और दैनिक पंचांग में, जहां एक विशेष दिन का, मासिक पंचांग में पूरे महीने का विवरण दिया जाता है। हिन्दू पंचांग में एक महीने को 30 दिनों में विभाजित किया गया है। इसे 30 दिनों को फिर दो पक्षों में बांटा गया है। 15 दिनों के एक पक्ष को शुक्ल पक्ष और शेष 15 दिनों को कृष्ण पक्ष माना जाता है। चन्द्रमा की आकार के अनुसार शुक्ल और कृष्ण पक्ष गणना किया गया है।
आइए जानते हैं वैदिक शास्त्रों में इन दोनों पहलुओं का महत्व।

कृष्ण पक्ष:
कृष्ण पक्ष पूर्णिमा और अमावस्या के बीच के भाग को कहते हैं। पूर्णिमा के अगले दिन कृष्ण पक्ष की शुरुआत होती है, जो अमावस्या के दिन तक 15 दिनों तक चलती है।

कृष्ण पक्ष में शुभ कार्य निषेध हैं, ऐसा माना जाता है कि जब भी कृष्ण पक्ष होता है तो उस दौरान कोई भी शुभ कार्य करना उचित नहीं होता है। दरअसल, इसके पीछे ज्योतिष शास्त्र में चंद्रमा के घटते चरण को बताया गया है।

जैसे-जैसे पूर्णिमा के बाद दिन बढ़ता है, चंद्रमा की रोशनी कमजोर होने लगती है। चंद्रमा के आकार और प्रकाश के कम होने के साथ ही रातें काली पड़ने लगती हैं। इस कारण भी कृष्ण पक्ष को शुभ नहीं माना जाता है। कृष्ण पक्ष तिथियां की गणना - 15 दिन (पूर्णिमा, प्रतिपदा, प्रतिपदा, तृतीया, चतुर्थी, पंचमी, षष्ठी, सप्तमी, अष्टमी, नवमी, दशमी, एकादशी, द्वादशी, त्रयोदशी, चतुर्दशी)

शुक्ल पक्ष:
अमावस्या और पूर्णिमा के बीच का भाग शुक्ल पक्ष कहलाता है। अमावस्या के बाद के 15 दिनों को शुक्ल पक्ष कहा जाता है। अमावस्या के अगले ही दिन से चन्द्रमा उदय होने लगता है और अँधेरी रात चन्द्रमा के प्रकाश में चमकने लगती है।

पूर्णिमा के दिन चंद्रमा बहुत बड़ा और प्रकाश से भरा होता है। इस समय के दौरान चंद्रमा अपने पूर्ण आकार में रहते हैं, इसलिए यह पहलू किसी भी शुभ कार्य को करने के लिए शुक्ल पक्ष उपयुक्त माना जाता है। शुक्ल पक्ष तिथियां की गणना- 15 दिन (अमावस्या, प्रतिपदा, प्रतिपदा, तृतीया, चतुर्थी, पंचमी, षष्ठी, सप्तमी, अष्टमी, नवमी, दशमी, एकादशी, द्वादशी, त्रयोदशी, चतुर्दशी)

यदि आपकी भी पंचांग में आस्था है तो अपना विशेष कार्य शुक्ल पक्ष में ही करें।

What is (Krishna and Shukla) Paksha? in English

Monthly Panchang i.e. a month in the Hindu calendar is divided into 30 days. These 30 days is divided into two sides. In which one Paksha of 15 days is called Shukla Paksha and the remaining 15 days is called Krishna Paksha. The more and lesser phases of the Moon are called Shukla and Krishna Paksha.
यह भी जानें

Blogs Paksh BlogsKrishna Paksha BlogsShukla Paksha BlogsPanchang Blogs

अगर आपको यह ब्लॉग पसंद है, तो कृपया शेयर, लाइक या कॉमेंट जरूर करें!

Whatsapp Channelभक्ति-भारत वॉट्स्ऐप चैनल फॉलो करें »
इस ब्लॉग को भविष्य के लिए सुरक्षित / बुकमार्क करें Add To Favorites
* कृपया अपने किसी भी तरह के सुझावों अथवा विचारों को हमारे साथ अवश्य शेयर करें।

** आप अपना हर तरह का फीडबैक हमें जरूर साझा करें, तब चाहे वह सकारात्मक हो या नकारात्मक: यहाँ साझा करें

2025 बसंत विषुव | मार्च विषुव

मार्च विषुव उत्तरी गोलार्ध में बसंत (वसंत) विषुव और दक्षिणी गोलार्ध में शरद विषुव (पतन) विषुव है। उत्तरी गोलार्द्ध में मार्च विषुव को वसंत विषुव कहा जाता है। उत्तरी गोलार्ध में वसंत विषुव लगभग 20 या 21 मार्च को पड़ता है, जब सूर्य उत्तर की ओर जाने वाले खगोलीय भूमध्य रेखा को पार करता है।

शीतला अष्टमी क्या है? यह कैसे मनाया जाता है?

शीतला अष्टमी प्रतिवर्ष चैत्र मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी को मनाई जाती है। इसे बासौदा अष्टमी भी कहते हैं। शीतला अष्टमी होली के आठवें दिन मनाई जाती है। इस वर्ष शीतला अष्टमी 25 मार्च 2022, शुक्रवार के दिन मनाई जाएगी। इस दिन माता शीतला की पूजा विधि-विधान से की जाती है और उनका व्रत किया जाता है।

होली विशेष 2025

आइए जानें! भारत मे तीन दिनों तक चलने वाला तथा ब्रजभूमि मे पाँच दिनों तक चलने वाले इस उत्सव से जुड़ी कुछ विशेष जानकारियाँ, आरतियाँ एवं भजन...

भद्रा विचार क्या है

जब भी किसी शुभ और शुभ कार्य का शुभ मुहूर्त देखा जाता है तो उसमें भद्रा का विशेष रूप से ध्यान रखा जाता है और कोई भी शुभ कार्य भद्रा के समय को छोड़कर दूसरे मुहूर्त में किया जाता है।

क्या रंग महोत्सव होली विदेशों में प्रसिद्ध है?

होली भारत के बाहर तेजी से लोकप्रिय हो गई है - बड़े हिस्से में दुनिया भर में लाखों सनातन अनुयायियों के कारण। एक अन्य भारतीय त्योहार दिवाली की तरह, विदेशों में रहने वाले दक्षिण एशियाई विरासत वाले समुदाय अक्सर होली मनाने के लिए एकत्र होते हैं।

वृन्दावन होली कैलेंडर

होली का त्योहार देशभर में बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है, लेकिन कान्हा की नगरी मथुरा में रंगों का यह त्योहार 40 दिनों तक चलता है, जिसकी शुरुआत वसंत पंचमी के दिन से होती है।

खाटू श्याम निशान यात्रा क्या है?

निशान यात्रा एक तरह की पदयात्रा होती है, श्री श्याम ध्वज हाथ में उठाकर श्याम बाबा को चढाने खाटू श्याम जी मंदिर तक आते है।..

Hanuman Chalisa - Hanuman Chalisa
Ganesh Aarti Bhajan - Ganesh Aarti Bhajan
×
Bhakti Bharat APP