सीता राम सीता राम सीताराम कहिये, जाहि विधि राखे राम ताहि विधि रहिये।...
जब तें रामु ब्याहि घर आए । नित नव मंगल मोद बधाए ॥ घर से दरिद्रता दूर भगाने और सुख, समृद्धि, शांति लाने के लिए अयोध्या काण्ड के मंगलाचरण की यह चौपाईयाँ प्रतिदिन सुने..
कान्हा रोज रोज तुमको सजाता रहूँ और मनाता रहूँ, पर भजन में कभी कुछ कमी हो नहीं ।
मेरी पूजा में हो रही देर मेरी, पूजा में, हो रही देर, गजानन, आ जाओ ll
मेरे घर गणपति जी है आए, मेरे घर गणपति जी है आये, मैं अपने दुःख को, मैं अपने दुःख को हूँ बिसराये, वो खुशियां अपने साथ है लाए,
मेरे घर गणपति जी है आए ॥
श्री गणपति महाराज, मंगल बरसाओ, शिव जी के प्यारे, मैया गौरा के दुलारे, देवों के सरताज, मंगल बरसाओ, श्रीं गणपति महाराज,
मंगल बरसाओ ॥
जय जय गणपति गौरी नंदन, हम आए शरण तिहारी प्रभु, तुम रिद्धि सिद्धि के हो दाता, हम भक्तन पर बलिहारी प्रभु, जय जय गणपति गौंरी नंदन, हम आए शरण तिहारी प्रभु ॥