संकट मोचन हनुमान मंदिर हिंदू भगवान हनुमान के पवित्र मंदिरों में से एक है। यह वाराणसी, उत्तर प्रदेश में स्थित है। संकट मोचन मंदिर में भगवान हनुमान की पूजा की जाती है। परिसर के अंदर बहुत सारे बंदर होने के कारण इस मंदिर को बंदर मंदिर के नाम से भी जाना जाता है। यह भगवान हनुमान के पवित्र मंदिरों में से एक है, साथ ही हिंदुओं के कई धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रमों का केंद्र बिंदु भी है। लाखों अनुयायी सोचते हैं कि इस प्राचीन मंदिर में पूजा करने से उनकी मनोकामनाएं पूरी होंगी और साथ ही सभी संकट रोगों से भी राहत मिलेगी।
संकट मोचन हनुमान मंदिर, वाराणसी का इतिहास और वास्तुकला
पौराणिक कथा के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि इस मंदिर का निर्माण गोस्वामी तुलसीदास द्वारा हनुमान जी के दर्शन के बाद किया गया था। इस मंदिर की स्थापना प्रसिद्ध संत (रामचरितमानस के रचयिता) गोस्वामी तुलसीदास ने की थी। रामचरितमानस वाल्मिकी द्वारा लिखित हिंदू महाकाव्य रामायण का हिंदी अनुवाद है। संकट मोचन मंदिर की पहचान भगवान राम के सामने भगवान हनुमान की मूर्ति की उपस्थिति से होती है।
संकट मोचन मंदिर की वास्तुकला बेहद आकर्षक है। मंदिर के एक तरफ भगवान राम और माता सीता की मूर्तियाँ हैं, और दूसरी तरफ भगवान लक्ष्मण और भगवान शिव की पूजा करते हुए वानर सेना की मूर्तियाँ हैं। भगवान हनुमान की पूजा संकट मोचन मंदिर में एक अण्डाकार आकार की पूजा गैलरी में की जाती है, जिसमें लगभग 250 उपासक बैठते हैं। संकट मोचन मंदिर की वास्तुकला पारंपरिक और आधुनिक तत्वों का एक संयोजन है। भगवान हनुमान की मूर्ति पर प्रसाद और सिन्दूर चढ़ाया जाता है, जिसे भक्त मंदिर परिसर में बेचते हैं। वे भगवान हनुमान की मूर्ति को सजाने के लिए फूलों की मालाओं का भी उपयोग करते हैं।
संकट मोचन हनुमान मंदिर, वाराणसी का दर्शन समय
संकट मोचन मंदिर हर दिन सुबह 5:00 बजे से रात 9:00 बजे तक खुला रहता है। आरती सुबह 4 बजे शुरू होती है और संध्या आरती रात 9 बजे होती है।
संकट मोचन हनुमान मंदिर, वाराणसी में प्रमुख उत्सव
हर साल हनुमान जयंती पर दुर्गा मंदिर (दुर्गा कुंड) से संकट मोचन मंदिर तक एक अनोखी शोभा यात्रा का आयोजन किया जाता है। प्रत्येक मंगलवार और शनिवार को, हजारों भक्त भगवान हनुमान की पूजा करने और हनुमान चालीसा और सुंदरकांड का पाठ करने के लिए मंदिर में आते हैं।
हर साल अप्रैल में, संकट मोचन संगीत समारोह (शास्त्रीय संगीत और नृत्य का उत्सव) होता है। इस उत्सव में भाग लेने के लिए पूरे भारत से महान संगीतकार और कलाकार एकत्रित होते हैं। यह उत्सव पहली बार 88 साल पहले आयोजित किया गया था।
संकट मोचन हनुमान मंदिर कैसे पहुँचें?
संकट मोचन हनुमान मंदिर भारत के उत्तर प्रदेश के वाराणसी में स्थित है। यह स्थान सड़क मार्ग और रेलवे मार्ग से बहुत अच्छी तरह से जुड़ा हुआ है। यह मंदिर बनारस रेलवे स्टेशन से लगभग 11 किलोमीटर दूर है। भक्त वाराणसी में कहीं से भी मंदिर तक पहुंच सकते हैं क्योंकि हर स्थान पर उत्कृष्ट ऑटो रिक्शा सेवा उपलब्ध है।
प्रचलित नाम: संकट मोचन हनुमान मंदिर, बंदर मंदिर
बुनियादी सेवाएं
पेयजल, प्रसाद, सीसीटीवी सुरक्षा, जूता स्टोर, पार्किंग स्थल